भिकियासैण (अल्मोडा़) जिले में चर्चित जगदीश हत्याकांड में अपने पति के हत्यारों के खिलाफ गवाही देने के बाद पिछले छह माह से नारी संरक्षण गृह में रह रही, उसकी पत्नी गीता (गुड्डी) को उसकी सास ननद व परिजनों ने संरक्षण गृह से मुक्त करा दिया है। गीता अब अपने ससुरालियों के साथ रहेगी।
ज्ञातव्य हो कि सवर्ण से शादी करने के दस दिन बाद ही सितंबर में गीता के सौतेले बाप, भाई व मां ने जगदीश चन्द्र की निर्मम हत्या कर दी थी। जिसके बाद तमाम सामाजिक संगठनों ने जोरदार आंदोलन शुरू किया था। गीता की सास भागुली देवी, ननद गंगा और भाई दिलीप पिछले लंबे समय से गीता को अपने साथ ले जाने की कोशिश कर रहे थे। पर पुलिस प्रशासन गीता की सुरक्षा का हवाला देकर इस बात पर अर्चनें खड़ी कर रहा था। इस बीच 13 मार्च को गीता की सत्र न्यायालय में गवाही के बाद गीता की रिहाई संभव हो पाई है। गीता को लेने आज उसकी सास भागुली देवी, उसकी ननद गंगा व जगदीश के भाई दिलीप परिजनों के साथ यहां आए और गीता कल यहां अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के क्रम में आयोजित साधारण महिलाओं के असाधारण अनुभव कार्यक्रम में प्रतिभाग करेंगी।
उपपा के केंद्रीय अध्यक्ष पी. सी. तिवारी ने कहा कि प्रदेश सरकार को जगदीश पर आश्रित उसकी विधवा श्रीमती गीता और उसकी ननद को सरकारी नौकरी देकर अपनी गलतियों का प्रायश्चित करना चाहिए।